Medically Reviewed By Neelanjana Singh, RD
Written by , (शिक्षा- एमए इन जर्नलिज्म मीडिया कम्युनिकेशन)

फल पोषक तत्वों से भरपूर होते हैं और स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद माने जाते हैं। खासकर, भागदौड़ भरी जिंदगी में ये जरूरी पोषक तत्वों की पूर्ति का काम कर सकते हैं। वैसे सभी फल गुणकारी होते हैं, लेकिन इस लेख में हम खासतौर पर शरीर के लिए अमरूद के फायदे की बात करेंगे। यह आसानी से मिल जाने वाला फल है और अमरूद के गुण शरीर को स्वस्थ रखने के साथ-साथ कई बीमारियों से बचाव का काम भी कर सकते हैं। स्टाइलक्रेज के इस लेख में हमारे साथ जानिए अमरूद के औषधीय गुण और विभिन्न शारीरिक समस्याओं पर अमरूद के फायदे। इसके अलावा, लेख में अमरूद के औषधीय गुण के साथ अमरूद के नुकसान पर भी प्रकाश डाला गया है।

आइए, सबसे पहले जानते हैं कि अमरूद के औषधीय गुण क्या हैं?

अमरूद के औषधीय गुण

अमरूद में कई औषधीय गुण पाए जाते हैं। अमरूद और इस पेड़ के अन्य उत्पादों में एंटीमाइक्रोबियल, एंटीफंगल, एंटीडायबिटिक और एंटी डायरियल गुण पाए जाते हैं। अमरूद का उपयोग गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल इंफेक्शन, मलेरिया, श्वसन संक्रमण, मुहं /दांत का संक्रमण, त्वचा संक्रमण, मधुमेह, हृदय और कुपोषण से जुड़ी समस्याओं में फायदेमंद साबित हो सकता है। इतना ही नहीं, कई वैज्ञानिक अध्ययन इसे महिलाओं की स्वास्थ्य समस्याओं, किडनी और कैंसर के लिए भी इसे उपयोगी साबित कर चुके हैं (1)। आगे अमरूद के फायदे विस्तार से बताए गए हैं।

अधिक जानकारी आगे है

लेख के अगले हिस्से में जानते हैं कि अमरूद के फायदे या अमरूद के लाभ क्या हो सकते हैं?

अमरूद के फायदे – Benefits of Guava in Hindi

इस लेख में अमरूद के फायदे के बारे में जानकारी दी जा रही है। वहीं, पाठक इस बात का भी ध्यान रखें कि अमरूद का सेवन किसी भी बीमारी का डॉक्टरी इलाज नहीं है। यह केवल समस्या से बचाव और उनके लक्षणों को कुछ हद तक कम करने में मददगार हो सकता है। अब पढ़िए आगे –

1. मधुमेह के लिए अमरूद के फायदे

डायबिटीज में अमरूद के लाभ देखे जा सकते हैं। माना जाता है कि बिना छिलके वाला अमरूद ब्लड शुगर को कम करने में मदद कर सकता है (2)। वहीं, एक शोध से पता चलता है कि अमरूद में मौजूद पॉलीसैकराइड तत्व टाइप-2 डायबिटीज को कम करने में मदद कर सकता है (3)। वहीं, दूसरी ओर अमरूद के पत्ते के अर्क में भी एंटी-हाइपरग्लिसमिक (Anti-hyperglycemic) प्रभाव पाए जाते हैं, जो ब्लड शुगर को नियंत्रित करने में मदद कर सकते हैं (4)। इसलिए, मधुमेह के लिए डाइट में अमरूद को शामिल किया जा सकता है।

2. कैंसर से बचाव के लिए अमरूद के फायदे

कैंसर से बचाव में भी अमरूद के लाभ देखे जा सकते हैं। इससे जुड़े एक शोध में जिक्र मिलता है कि अमरूद प्रोस्टेट कैंसर (पौरुष ग्रंथि से जुड़ा) के जोखिम को कम करने में मददगार हो सकता है। दरअसल, इसमें लाइकोपीन (lycopene) नामक तत्व मौजूद होता है, जो प्रोस्टेट कैंसर सेल्स के विरूद्ध कीमोप्रीवेंटिव प्रभाव प्रदर्शित कर सकता है (5)। इससे प्रोस्टेट कैंसर के जोखिम से बचा सकता है। वहीं, पाठक इस बात का भी ध्यान रखें कि अमरूद किसी भी तरीके से कैंसर का डॉक्टरी इलाज नहीं है। अगर कोई कैंसर के चपेट में आ गया है, तो उसका डॉक्टरी इलाज करवाना जरूरी है।

3. वजन कम करने के लिए अमरूद के फायदे

स्वस्थ व्यक्ति में उसकी लंबाई के अनुसार कितना वजन होना चाहिए, इसका जवाब बॉडी मॉस इंडेक्स (BMI) के जरिए लगाया जाता है। बॉडी मॉस इंडेक्स का अधिक होना मोटापा की ओर इशारा करता है (6)। एनसीबीआई (नेशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इंफॉर्मेशन) की वेबसाइट पर पब्लिश एक स्टडी के अनुसार, छिलके वाले पके अमरूद से बने सप्लीमेंट से बॉडी मॉस इंडेक्स कम हो सकता है (7)। सप्लीमेंट के साथ-साथ पके हुए अमरूद का भी सेवन किया जा सकता है। हालांकि, बॉडी मॉस इंडेक्स और मोटापा कम करने में अमरूद कैसे फायदेमंद हो सकता है, इस विषय पर अधिक शोध की जरूरत है।

4. सही पाचन शक्ति के लिए अमरूद के फायदे

अमरूद पाचन तंत्र को सुधारने में मदद कर सकता है। दरअसल, इससे जुड़े एक वैज्ञानिक शोध में जिक्र मिलता है कि अमरूद डाइटरी फाइबर से समृद्ध होते हैं और फाइबर की कमी कब्ज की समस्या का कारण बन सकती है (8) (9)। ऐसे में अमरूद के जरिए शरीर में फाइबर की पूर्ति कर कब्ज से निजात पाया जा सकता है, जो पाचन तंत्र को प्रभावित करने काम करता है।

5. रोग प्रतिरोधक क्षमता के लिए अमरूद के फायदे

अमरूद में मौजूद विटामिन शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली में सुधार करने में मदद कर सकते हैं (10)। वहीं, अमरूद में मौजूद विटामिन-सी प्रतिरक्षा प्रणाली को बेहतर करने और रोग पैदा करने वाले रोगजनकों से लड़ने में मदद कर सकता है (11)। ऐसे में अमरूद का सेवन रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने में मदद कर सकता है।

6. दिल के लिए अमरूद के फायदे

अमरूद का सेवन हृदय के लिए फायदेमंद साबित हो सकता है। दरअसल, इसमें पोटेशियम की कुछ मात्रा पाई जाती है, जो रक्त वाहिकाओं को आराम पहुंचाने का काम कर सकती है, जिससे रक्तचाप को नियंत्रित करने में मदद मिल सकती है (12)। वहीं, इसमें फाइबर पाया जाता है और फाइबर खराब कोलेस्ट्रॉल, जो दिल की बीमारी का कारण बन सकता है, उसे कम कर सकता है और कोलेस्ट्रॉल की वजह से होने वाले हृदय रोग के जोखिम को कम कर सकता है (13)।

7. आंखों के लिए अमरूद के फायदे

आजकल छोटी उम्र से ही बच्चों की आंखें कमजोर होने लगती हैं। ज्यादा टीवी देखना, देर तक पढ़ाई करना, कम रोशनी में पढ़ना, बढ़ती उम्र और कई बार पौष्टिक आहार की कमी, इस समस्या का कारण बन जाती है। ऐसे में आहार में अमरूद को शामिल किया जा सकता है। यह जरूरी विटामिन्स जैसे विटामिन-ए, सी व फोलेट से समृद्ध होता है। साथ ही इसमें जिंक और कॉपर जैसे तत्व भी पाए जाते हैं। ये सभी पोषक तत्व आंखों के स्वास्थ्य को बनाए रखने में मदद कर सकते हैं और साथ ही बढ़ती उम्र के कारण होने वाले नेत्र रोग के जोखिम को भी कम कर सकते हैं (14)।

8. गर्भावस्था में अमरूद के फायदे

अमरूद में विटामिन-सी पाया जाता है, जो शरीर में आयरन के अवशोषण की बढ़ावा दे सकता है। इसलिए, यह गर्भावस्था के दौरान आयरन की कमी से होने वाली खून की कमी (एनीमिया) से बचाव कर सकता है। गर्भावस्था में विटामिन-सी की पूर्ति के लिए अमरूद का सेवन किया जा सकता है। साथ ही अमरूद से प्राप्त विटामिन-सी को ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस से बचाव में भी सहायक माना जा सकता है। गर्भावस्था में ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस का होना प्रीक्लेम्पसिया (गर्भावस्था में उच्च-रक्तचाप) और प्रीटर्म बर्थ (समय से पहले जन्म) का जोखिम पैदा कर सकता है, इसलिए विटामिन-सी का सेवन उपरोक्त स्थितियों के खिलाफ सुरक्षात्मक हो सकता है (15)। वहीं, इसमें फोलेट की मात्रा भी पाई जाती है (8)। फोलेट एक जरूरी पोषक तत्व है, जो होने वाले बच्चे में न्यूरल ट्यूब डिफेक्ट (मस्तिष्क और रीढ़ से जुड़ा जन्मदोष) के जोखिम को कम कर सकता है (16)।

9. तनाव के लिए अमरूद के फायदे

मैग्नीशियम तनाव को कम कर सकता है। अध्ययन यह भी सुझाव देते हैं कि मैग्नीशियम व्यक्तियों में चिंता को दूर करने में मदद कर सकता है (17)। ऐसे में तनाव और चिंता से मुक्त रहने के लिए अमरूद का सेवन किया जा सकता है (8)। हालांकि, यह सीधे तौर पर कितना प्रभावकारी होगा, इस विषय में अभी और शोध किए जाने की आवश्यकता है।

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10. ब्लड प्रेशर के लिए अमरूद के फायदे

डब्ल्यूएचओ (वर्ल्ड हेल्थ आर्गेनाईजेशन) के अनुसार, उच्च रक्तचाप के कारण दिल का दौरा पड़ने, आंखों की रोशनी कम होने और मौत तक होने की आशंका होती है (18)। उच्च रक्तचाप में अमरूद को आहार में शामिल किया जा सकता हैं। वहीं, जैसा कि हमने ऊपर बताया है कि अमरूद में पोटेशियम की मात्रा पाई जाती है और पोटेशियम रक्त वाहिकाओं को आराम पहुंचाकर ब्लड प्रेशर को नियंत्रित करने का काम कर सकता है (12)।

11. थायराइड के लिए अमरूद के फायदे

थायराइड गले में मौजूद ग्रंथि होती है। यह ग्रंथि हार्मोन का निर्माण करती है और ये थायराइड हार्मोन बॉडी मेटाबॉलिज्म में अहम भूमिका निभाते हैं। वहीं, जब ये हॉर्मोन असंतुलित होते हैं, तो उसे थाइराइड की समस्या कहते हैं (19)। इससे जुड़े एक शोध का मानना है कि अमरूद का सेवन थायराइड की स्थिति में सुधार कर सकता है (10)। हालांकि, यह किस प्रकार यह लाभ पहुंचाता है, इससे जुड़े सटीक शोध का अभाव है।

12. सर्दी-जुकाम के लिए अमरूद के फायदे

अमरूद के फायदे की लिस्ट में सर्दी-जुकाम को ठीक करना भी शामिल है। दरअसल, अमरूद में विटामिन-सी और आरयन की अच्छी मात्रा पाई जाती है। ये पोषक तत्व फेफड़ों में रूकावट और बलगम के निर्माण को कम कर सकते हैं। साथ ही श्वसन पथ को रोगजनकों से बचाने में मदद कर सकते हैं। वहीं, इसमें मौजूद विटामिन-सी बैक्टीरिया और वायरस की वजह से होने वाली सर्दी और खांसी से आराम दिलाने में मददगार हो सकता है (12)।

13. कब्ज के लिए अमरूद के फायदे

जैसा कि हम ऊपर बता चुके हैं कि अमरूद में फाइबर की मात्रा पाई जाती है और फाइबर मल को मुलायम बनाकर कब्ज से निजात दिलाने में मदद कर सकता है। इस आधार पर कहा जा सकता है कि कब्ज जैसे समस्या से निजात पाने के लिए अमरूद का सेवन लाभकारी हो सकता है (20)।

14. दिमागी विकास के लिए अमरूद के फायदे

अमरूद के गुण कई हैं। जैसा कि हम ऊपर जानकारी दे चुके हैं कि इसमें लाइकोपीन नामक तत्व पाया जाता है। शोध में जिक्र मिलता है कि लोइकोपीन से समृद्ध खाद्य-पदार्थों का सेवन न्यूरल डैजेम को कम कर सकता है और साथ ही अल्जाइमर (भूलने की बीमारी) और पार्किंसन रोग (एक प्रकार का ब्रेन डिसऑर्डर) के जोखिम को भी कम कर सकता है। इसके अलावा, लाइकोपीन ब्रेन टिश्यू की सुरक्षा में भी योगदान दे सकता है (20)।

15. अमरूद में पाए जाने वाले विटामिन्स

अमरूद के उपयोग से शरीर में कई विटामिन की पूर्ति की जा सकती है। अमरूद में विटामिन-ए, सी, के और बी6 पाया जाता है (8)। आइए जानते हैं कि अमरूद में कौन-सा विटामिन है और उनके क्या लाभ मिल सकते हैं?

  • विटामिन-ए आंखों के लिए, पेट के लिए, त्वचा के लिए व श्वसन तंत्र के लिए जरूरी है (21)।
  • विटामिन-सी रोग प्रतिरोधक क्षमता के लिए जरूरी होता है (22)।
  • विटामिन-के कैंसर के जोखिम को कुछ हद तक कम कर सकता है। साथ ही हड्डियों को स्वस्थ बनाकर उन्हें टूटने से बचा सकता है और हृदय संबंधी बीमारी के खतरे को भी कम कर सकता है (23)।
  • विटामिन-बी 6 दिमागी विकास के लिए जरूरी होता है, खासकर भ्रूण के दिमागी विकास के लिए। इसलिए, गर्भवती महिलाओं को विटामिन-बी6 की काफी जरूरत होती है (24)।

16. मासिक धर्म के दर्द के लिए अमरूद के फायदे

मासिक धर्म या पीरियड्स हर महिला के लिए वो वक्त होता है, जिसमें उसे कई परेशानियों का सामना करना पड़ता है। मूड स्विंग्स, पेट दर्द, ऐंठन, सिरदर्द और ऐसी ही कई अन्य समस्याएं होती हैं, जिन्हें महिलाएं हर माह झेलती हैं (25)। ऐसे में अमरूद का सेवन काफी फायदेमंद साबित हो सकता है। एक अध्ययन में पाया गया कि 197 महिलाएं, जिन्हें डिसमेनोरिया (dysmenorrhea) यानी पीरियड्स के दौरान दर्द की शिकायत थी, उन्हें हर रोज 6 मिलीग्राम अमरूद के अर्क वाली दवा का सेवन कराया गया, जिससे उन्हें फायदा हुआ (26)। वहीं, एक अन्य दक्षिण अफ्रीकी अध्ययन में अमरूद की पत्तियों के अर्क से ऐंठन को दूर करने की पुष्टि की गई है (27)। ध्यान रहे कि दर्द से राहत पाने के लिए सिर्फ अमरूद का सेवन ही नहीं, बल्कि अच्छी डाइट और सही जीवनशैली भी जरूरी है।

17. दांतों के दर्द में अमरूद के फायदे

अमरूद को एंटीप्लाक एजेंट के रूप में पहचान मिली हुई है। यह प्लाक यानी कि दांतों पर जमने वाली बैक्टीरिया युक्त परत से दांतों की सुरक्षा कर सकता है। इस प्लाक को पीरियडोंटल डिजीज (मसूड़ों के संक्रमण) का एक जोखिम कारक कह सकते है। अमरूद में रोगाणुरोधी गतिविधि पाई जाती है, जिसका मुख्य कारण फ्लेवोनोइड्स, ग्वाजाइवरिन और क्वेरसेटिन जैसे तत्व है। इसकी छाल में टैनिन की उपस्थिति के कारण यह रोगजनक बैक्टीरिया से छुटकारा दिला सकता है। अमरूद की पत्तियों के अर्क में मुंह में पाए जाने वाले कई प्रकार के जीवाणुओं को नष्ट करने की क्षमता देखी गई है (28)।

18. स्वस्थ त्वचा के लिए अमरूद के फायदे

त्वचा में निखार लाने के अमरूद के उपयोग किए जा सकते हैं और इसमें अमरूद की पत्तियां मदद कर सकती है। दरअसल, अमरूद की पत्तियों के मेथेनॉलिक अर्क में सूरज की यूवी किरणों से होने वाले पिगमेंटेशन के खिलाफ एंटीमेलानोजेनेसिस गतिविधि देखी गयी है यानी यह मेलेनिन के उत्पादन को कम कर सकती हैं। मेलेनिन की अधिक मात्रा त्वचा को दागदार बना सकती है, जिससे अमरूद व इसकी पत्तियां बचाव कर सकती हैं (29)। हालांकि, यहां अमरूद का फल किस प्रकार मददगार हो सकता है, इससे जुड़े सटीक शोध का अभाव है।

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आइए, अब जानते हैं कि अमरूद में कौन-कौन से पोषक तत्व पाए जाते हैं?

अमरूद के पौष्टिक तत्व – Guava Nutritional Value in Hindi

अमरूद के फायदे और अमरूद के लाभ के बारे में आप जान चुके हैं। अब यहां हम आपको अमरूद के पोषक तत्व के बारे में बता रहे हैं (8)।

पोषक तत्वमात्रा प्रति 100 ग्राम 
ऊर्जा68 कैलोरी
जल80.8 ग्राम
कार्बोहाइड्रेट14. 32 ग्राम
फैट0.95 ग्राम
प्रोटीन2.55 ग्राम
कुल कार्बोहाइड्रेट23. 6 ग्राम
डाइटरी फाइबर5.4 ग्राम
शुगर8.92 ग्राम
प्रोटीन2.55 ग्राम
विटामिन-ए, आरएई31 माइक्रोग्राम
विटामिन-सी228.3 मिलीग्राम
विटामिन-ई (अल्फा टोकोफेरॉल)0.73 मिलीग्राम
विटामिन-के2.6 माइक्रोग्राम
थियामिन0.067 मिलीग्राम
राइबोफ्लेविन0.04 मिलीग्राम
नियासिन1.084 मिलीग्राम
विटामिन-बी60.11 मिलीग्राम
फोलेट49 माइक्रोग्राम
कोलीन7.6 मिलीग्राम
कैल्शियम18 मिलीग्राम
आयरन0.26 मिलीग्राम
मैग्नीशियम22 मिलीग्राम
फास्फोरस40 मिलीग्राम
पोटेशियम417 मिलीग्राम
सोडियम2 मिलीग्राम
जिंक0.23 मिलीग्राम
कॉपर0.23 मिलीग्राम
सेलेनियम0.6 माइक्रोग्राम

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अमरूद खाने से क्या होता है और इसमें क्या पाया जाता है, ये जानने के बाद अब जानते हैं कि अमरूद का उपयोग कैसे और कितनी मात्रा में किया जाना चाहिए।

अमरूद का उपयोग – How to Use Guava in Hindi

अब जब अमरूद खाने के इतने फायदे जान चुके हैं, तो मन में यह सवाल भी उठ रहा होगा कि अमरूद का सेवन कब और कैसे किया जाए। इन सारे सवालों का जवाब हम कुछ बिंदुओं के माध्यम से बता रहे हैं। आगे अमरूद के उपयोग के बारे में जानेंगे।

अमरूद खाने का तरीका :

  • सबसे पहले अच्छा अमरूद चुनें, कोशिश करें कि अमरूद पका हुआ और नर्म हो।
  • ध्यान रहे कि अमरूद जरूरत से ज्यादा नर्म न हो, क्योंकि ऐसा होने से अमरूद सड़ा हुआ या जल्दी खराब हो सकता है।
  • अमरूद को अच्छी तरह से धो लें ताकि इससे धूल-मिट्टी या गंदगी निकल जाए और अमरूद साफ हो जाए।
  • अमरूद को हमेशा काटकर खाएं। अमरूद के लाभ के लिए यह जरूरी है क्योंकि इसमें कीड़े हो सकते हैं।
  • पके हुए अमरूद को नमक के साथ खा सकते हैं या कच्चे अमरूद को छोटा-छोटा काटकर या उसे घिसकर नमक के साथ खा सकते हैं।
  • अगर पाचन शक्ति सुधारना चाहते हैं, तो पके हुए अमरूद को काले नमक के साथ खाएं।
  • अगर कब्ज की परेशानी है, तो सुबह पका हुआ अमरूद खाएं।
  • पके हुए अमरूद के गूदे को चम्मच के साथ खा सकते हैं।
  • अमरूद को काटकर सॉस के साथ खा सकते हैं।
  • अमरूद का जूस पी सकते या फिर स्मूदी व आइसक्रीम में इस्तेमाल कर सकते हैं।
  • चाहें, तो अमरूद की सब्जी बनाकर भी खा सकते हैं। सेवन के साथ ही अमरूद के नुकसान भी जरूर पढ़ लें, जो आगे लेख में बताए गए हैं।

अमरूद का सेवन कब करें?
अमरूद का सेवन कभी भी किया जा सकता है। इसे ब्रेकफास्ट, लंच और डिनर के बीच में खाएं, क्योंकि हेल्दी स्नैक्स का यह बढ़िया विकल्प है।

अमरूद का सेवन कितनी मात्रा में करना चाहिए?
2- 3 मध्यम आकार के अमरूद प्रतिदिन आराम से खाए जा सकते हैं। इसका कितनी मात्रा में सेवन करना सुरक्षित है, इसके बारे में शोध का अभाव है। बेहतर होगा डायटीशियन से सलाह लें।

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लेख के अगले हिस्से में जानते हैं कि अमरूद को लम्बे समय तक सुरक्षित कैसे रखें?

अमरूद को लम्बे समय तक सुरक्षित कैसे रखें?
अब बात आती है कि अमरूद को कैसे रखें कि वो लंबे वक्त तक सही रहे। नीचे हम अमरूद को सही ढंग से स्टोर करने की विधि बता रहे हैं।

  • कोशिश करें कि अमरूद को अन्य फलों के साथ फ्रिज में न रखें, बल्कि उसे फ्रिज में अलग से किसी और कम्पार्टमेंट में रखें। दूसरे फलों के साथ रखने से अमरूद जल्दी पक कर खराब हो सकते हैं।
  • अमरूद को काटने के कुछ देर बाद खाना है, तो काटने के बाद इसमें नींबू लगा सकते हैं।
  • अमरूद को फ्रीज भी कर सकते हैं, लेकिन उससे पहले अमरूद को अच्छे से धोकर सूखा लें और फिर छिल लें। छिलने के बाद उसे आधा-आधा काट लें और एयर टाइट कंटेनर या जार में रख लें। ध्यान रहे कि कंटेनर बड़ा हो और उसमें अमरूद के लिए हेडस्पेस अच्छी मात्रा में हो। ऐसा करने से अमरूद लंबे वक्त तक ताजा रहेगा।
  • एयर टाइट जार या कंटेनर में ठंडी चीनी की चाशनी को डालकर उसमें भी अमरूद को डुबोकर रख सकते हैं। जार को ढक्कन से अच्छी तरह से बंद जरूर करें।
    ध्यान रहे कि अमरूद को ज्यादा वक्त के लिए न स्टोर करें। अमरूद ही क्या कोई भी फल लंबे वक्त तक न रखें।

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आगे जानते हैं कि अमरूद का जूस कैसे बनाया जा सकता हैं?

अमरूद का जूस बनाने की विधि
अमरूद का जूस बनाना बेहद आसान है और ये पीने में बहुत स्वादिष्ट भी लगता है। तो आइए, जानते हैं अमरूद का जूस बनाने की विधि। अमरूद का जूस पीने के फायदे आपके काम आ सकते हैं।

सामग्री :

  • 2 अमरूद
  • 1 हरी मिर्च
  • एक अदरक का टुकड़ा
  • 4-5 काली मिर्च
  • थोड़ा सा पानी
  • 1 चम्मच नींबू का रस
  • पुदीने की पत्तियां (सजावट के लिए)
  • स्वादानुसार नमक

बनाने की विधि:

  • सबसे पहले अमरूद को धोकर छोटे टुकड़ों में काट लें।
  • अमरूद का जूस बनाने के लिए ऊपर दी गई सभी सामग्री और अमरूद मिक्सी में पीसें।
  • पीसने के बाद इस जूस को छलनी से छान लें।
  • इसे बिना छाने भी पी सकते है।
  • चाहें, तो इसमें आइस क्यूब भी डाल सकते हैं।
  • गिलास में पुदीना गार्निशिंग के साथ अमरूद का जूस सर्व करें।

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आइए अब जानते है अमरूद से होने वाले कुछ नुकसान के बारे में।

अमरूद के नुकसान – Side Effects of Guava in Hindi

हालांकि, अमरूद के गंभीर साइड इफेक्ट नहीं हैं, लेकिन खाते वक्त थोड़ी सावधानी बरतनी जरूरी है। अमरूद के नुकसान से बचने के लिए इनका सेवन संतुलित मात्रा में करें। नीचे जानिए इससे होने वाले कुछ नुकसान –

  • जैसा कि हमने ऊपर बताया कि अमरूद में फाइबर पाया जाता है और शरीर में फाइबर की अधिक मात्रा पेट में ऐंठन और गैस की समस्या का कारण बन सकती है (30)।
  • अगर किसी को किडनी से जुड़ी कुछ स्वास्थ्य संबंधी समस्या है, तो डॉक्टर पोटेशियम का सेवन न करने की सलाह दे सकते हैं (31)। वहीं, अमरूद में अच्छी मात्रा में पोटेशियम पाया जाता है (32) इसलिए, अमरूद के सेवन से पहले अपने डॉक्टर से सलाह-परामर्श कर लें।
  • गर्भवती महिलाओं और स्तनपान कराने वाली माताएं अमरूद खा सकती हैं। बस ध्यान रहे कि इसे अधिक मात्रा में लेने से पेट में गैस की समस्या हो सकती है।

अमरूद गुणकारी, सस्ता और आसानी से मिलने वाला फल है। अमरूद के औषधीय गुण और इसमें मौजूद पोषक तत्व इसे खास बनाते हैं। इसलिए, आप अपनी डाइट में अमरूद को जरूर शामिल करें। साथ ही अमरूद के फायदे तभी अच्छे से मिल सकते हैं, जब इसका सही तरीके से सेवन किया जाए। इसलिए, अमरूद के गुण का अच्छे से लाभ लेने के लिए इसका संतुलित और सही मात्रा में सेवन करें। उम्मीद है कि यह लेख आपके लिए लाभकारी रहा होगा।

अक्सर पूछे जाने वाले सवाल

अमरूद की तासीर कैसी होती है?

अमरूद की तासीर ठंडी होती हैं।

प्रतिदिन कितने अमरूद खाए जा सकते हैं?

अमरूद की सही खुराक कई कारकों पर निर्भर करती है, जैसे कि उपयोगकर्ता की आयु, स्वास्थ्य और कई अन्य स्थितियां। वैसे माना जाता है कि एक व्यस्क को प्रतिदिन फल व सब्जियों के 5 सर्विंग लेने चाहिए और इसमें अमरूद भी शामिल है। फिलहाल, अमरूद के सेवन की मात्रा निर्धारित करने के लिए पर्याप्त वैज्ञानिक जानकारी उपलब्ध नहीं है।

क्या सुबह खाली पेट अमरूद खाना ज्यादा फायदेमंद है?

खाली पेट अमरूद खाने के फायदे हो सकते हैं। हालांकि, कुछ लोगों में खाली पेट अमरूद खाने से पेट संबंधी समस्या हो सकती हैं। इसलिए, इससे जुड़ी जानकारी डॉक्टर से जरूर लें।

अमरूद खाने के बाद क्या नहीं खाना चाहिए?

ऐसी कोई जानकारी वैज्ञानिक नहीं देते हैं कि अमरूद के सेवन के बाद क्या नहीं खाना चाहिए। बेहतर होगा कि इस विषय पर आप डायटीशियन से सलाह लें। अमरूद के लाभ लेने के लिए यह अच्छा निर्णय हो सकता है।

अमरूद का जूस पीने का सही समय क्या है?

अमरूद का जूस कभी भी पिया जा सकता है लेकिन सुबह के नाश्ते में इसका सेवन अच्छा माना जाता है।

क्या खाली पेट अमरूद और अमरूद के जूस का सेवन किया जा सकता है?

जैसा कि हमने ऊपर बताया कि खाली पेट अमरूद खाने से कुछ लोगों को पेट संबंधी समस्याएं हो सकती हैं। इसलिए, किसी भी प्रकार के दुष्प्रभाव से बचने के लिए डॉक्टरी परामर्श जरूर लें।

क्या अमरूद के बीज खाना सुरक्षित है?

हां, अमरूद के बीज का सेवन सुरक्षित है (33)।

अमरूद के अन्य नाम क्या हैं?

अमरूद को अंग्रेजी में गुआवा (guava), बंगाली में पेयारा व मराठी में पेरू कहते हैं।

क्या अमरूद किडनी के लिए अच्छा होता है?

अमरूद में पोटेशियम होता है, जो किडनी की समस्या वाले लोगों को नहीं सुझाया जाता है (32), (31)। अगर किसी को गुर्दे की कोई समस्या है, तो इस फल का सेवन करने से पहले डॉक्टर से बात करें।

क्या रात को अमरूद खाना सुरक्षित है?

हां, रात को अमरूद का सेवन किया जा सकता है।

क्या अमरूद खाने के बाद पानी पी सकते हैं?

नहीं, अमरूद के सेवन के बाद पानी पीने से पेट खराब हो सकता है। किसी भी फल को खाने के तुरंत बाद पानी नहीं पीना चाहिए।

क्या अमरूद के पत्ते ज्यादा फायदेमंद हैं?

अमरूद की पत्तियां और अमरूद दोनों ही फायदेमंद माने जाते हैं। अमरूद की पत्तियों में एंटीऑक्सीडेंट, जीवाणुरोधी और एंटीइंफ्लेमेटरी गुण होते हैं। साथ ही इन पत्तियों में मौजूद पॉलीफेनोल, कैरोटेनॉइड, फ्लेवोनोइड और टैनिन विभिन्न बीमारियों के इलाज में प्रभावी हो सकते हैं (1)। हालांकि, दोनों में कौन ज्यादा फायदेमंद है, इससे जुड़े शोध का अभाव है।

Sources

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